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मेरठ। थाना लालकुर्ती क्षेत्र की तोपखाना पुलिस चैकी की बिल्डिंग खंडर बन चुकी है। पिछले कुछ सालों में खस्ताहाल बिल्डिंग को जहरीले सांपों ने अपना घर बना लिया है। बीते शुक्रवार पास में ही रहने वाली एक महिला को इसी तरह के एक जहरीले सांप ने डस लिया जिसके बाद उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया। महिला के पति अनुराग सिंह का आरोप है कई बार संबंधित थाना पुलिस को इस प्रकरण से अवगत कराया गया लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। शनिवार को पीड़ित ने एसएसपी से मदद की गुहार लगाई।

एनर्जी ड्रिंक्स का सेवन बन सकता हार्ट अटैक की वजह

मेरठ। मैक्स सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल पटपड़गंज ने मेरठ स्थित मैक्स मेडसेंटर में इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजी की एक्सक्लूसिव ओपीडी सेवाओं की शुरुआत की। इस अवसर पर मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल पटपड़गंज के इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजी कार्डियक साइंसेज विभाग के सीनियर कंसल्टेंट डॉ चयन वर्मानी मौजूद रहे।
डाॅ वर्मानी ने बताया कि ज्यादा एनर्जी ड्रिंक्स के सेवन से भी दिल की गंभीर बीमारियां होने का खतरा बना रहता है। डॉ वर्मानी हर महीने के पहले व चैथे शनिवार को सुबह 11 बजे से दोपहर 2 बजे तक मैक्स मेडसेंटर मेरठ में मरीजों के प्राथमिक परामर्श और फॉलो-अप के लिए उपलब्ध रहेंगे। डॉ वर्मानी ने बताया कि अक्सर मरीज हार्ट प्रॉब्लम्स के शुरुआती लक्षणों को नजरअंदाज कर देते हैं जैसे छाती में दर्द, भारीपन या दबाव (एंजाइना के संकेत), जबड़े, बाएं कंधे, बांह, कोहनी या पीठ में दर्द, सांस लेने में तकलीफ (डिस्पनिया), ठंडा पसीना, उल्टी जैसा महसूस होना, थकान, चक्कर आना या बेहोशी शामिल हो सकते हैं। कई मरीज जिन्हें बार-बार हार्ट अटैक होता है या जिन्हें डाइलेटेड कार्डियोमायोपैथी होती है, वे एडवांस हार्ट फेलियर का सामना करते हैं। कार्डियक सर्जरी में हाल के नवाचारों में मिनिमली इनवेसिव तकनीकें, ट्रांसकैथेटर प्रोसीजर, उडी प्रिंटिंग और रीजेनेरेटिव मेडिसिन जैसी आधुनिक विधियां शामिल हैं। इस विशेषज्ञता के साथ हमने कॉम्प्लेक्स प्रोसीजर्स में भी 90 प्रतिशत से अधिक सफलता दर हासिल की है।

टैंट वाले देंगे बाल विवाह की जानकारी….!

मेरठ। देवउठनी एकादशी से शुरू होने वाले शादी-विवाह के मौसम को लेकर जिले में बाल विवाह के खिलाफ मुहिम शुरू हो गई है। गैरसरकारी संगठन जनहित फाउंडेशन ने जिला प्रशासन से बाल विवाहों की रोकथाम के लिए सख्त निगरानी और अत्यधिक सतर्कता बरतने का अनुरोध किया है।
संगठन ने जिला प्रशासन को भेजी गई चिट्ठी में बाल विवाहों की रोकथाम के लिए कड़ी चैकसी की अपील की ताकि ऐसी कोई भी घटना प्रशासन की जानकारी से बचे और उसपर तत्काल कार्रवाई की जा सके। साथ ही आम आदमी को यह संदेश पहुंचाना आवश्यक है कि यदि किसी के भी पास संभावित बाल विवाह की जानकारी है तो वह तत्काल पुलिस हेल्पलाइन (112), चाइल्ड हेल्पलाइन (1098) या स्थानीय थाने को सूचित करे ताकि इस अपराध को रोका जा सके। जस्ट राइट्स फॉर चिल्ड्रेन (जेआरसी) का सहयोगी संगठन जनहित फाउंडेशन बाल विवाह के खात्मे के लिए जेआरसी के राष्ट्रव्यापी अभियान चाइल्ड मैरेज फ्री इंडिया के तहत जिले को 2030 तक बाल विवाह मुक्त बनाने के लिए कार्य कर रहा है। जस्ट राइट्स फॉर चिल्ड्रेन देश में बाल अधिकारों की सुरक्षा व संरक्षण के लिए गैरसरकारी संगठनों के सबसे बड़े नेटवर्क में से एक है। पिछले कुछ वर्षों से यह नेटवर्क अपने समग्र थ्री पी माडल प्रोटेक्शन (संरक्षण), प्रिवेंशन (रोकथाम) व प्रॉसिक्यूशन (कानूनी कार्रवाई) के माध्यम से 2030 तक बाल विवाह समाप्त करने के लिए निरंतर प्रयासरत है। एक नवंबर से शुरू हो रहे शादी के मौसम को देखते हुए जिला प्रशासन से सरपंचों, आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं और पुलिस को अतिरिक्त सतर्कता बरतने का निर्देश देने की अपील की है। इसके साथ ही संगठन ने गांवों और स्कूलों में बाल विवाह के खिलाफ जागरूकता अभियान को गति देते हुए धार्मिक नेताओं से भी अतिरिक्त सतर्कता बरतने की अपील की है। संगठन ने सभी धार्मिक नेताओं और विवाह समारोह में टेंट, सजावट या बैंड बाजा मुहैया कराने वाले सेवा प्रदाताओं से अनुरोध किया है कि वे किसी भी बाल विवाह में अपनी सेवाएं देकर इसका हिस्सा नहीं बनेंगे। बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम (पीसीएमए) 2006 के अनुसार जो भी किसी भी तरह से बाल विवाह में भागीदारी करता है, सेवाएं प्रदान करता है, इसे संपन्न या निर्देशित करता है उसे दो साल का सश्रम कारावास और एक लाख रुपए जुर्माना या दोनों हो सकता है। इसमें वे भी शामिल हैं जो इसे प्रोत्साहित करते हैं, स्वीकृति देते हैं या जानबूझ कर इसकी जानकारी देने में नाकाम रहते हैं जिसमें आयोजक, अतिथि और सेवा प्रदाता भी शामिल हैं।

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